बॉलीवुड अभिनेता और पटना निवासी सुशांत सिंह राजपूत सुसाइड मर्डर मिस्ट्री में रोजाना कुछ न कुछ खुलासे हो रहे हैं। इस बीच मुंबई में शिवसेना नेता संजय राउत की टिप्पणी पर बिहार के डीजीपी गुप्तेश्वर पांडेय ने एक बार फिर से शायरी से जवाब दिया है। उन्होंने ट्ववीट करते हुए लिखा है कि..
सफ़र में मुश्किलें आएँ, तो जुर्रत और बढ़ती है!
अगर रास्ता कोई रोके, तो हिम्मत और बढ़ती है!!
अगर दुश्मन समझ कर, मुझको कोई गाली देता है!
सच कहूँ उससे मुहब्बत और बढ़ती है!!
सफ़र में मुश्किलें आएँ ,तो जुर्रत और बढ़ती है!
अगर रास्ता कोई रोके ,तो हिम्मत और बढ़ती है!!
अगर दुश्मन समझ कर ,मुझको कोई गाली देता है!
सच कहूँ उससे मुहब्बत और बढ़ती है!!— IPS Gupteshwar Pandey (@ips_gupteshwar) August 9, 2020
डीजीपी गुप्तेश्वर पांडेय ने इससे पहले भी शायरी के जरिए ही शिवसेना नेता संजय राउत को जवाब दिया था। डीजीपी ने लिखा था कि जीवन भर निष्पक्ष रहकर निष्ठापूर्वक आम जनता की सेवा की है। मुझ पर बहुत तथ्यहीन अनर्गल आरोप लगाए जा रहे हैं। जिसका जवाब देना उचित नहीं। हिफ़ाज़त हर किसी की मालिक बहुत खूबी से करता है! हवा भी चलती रहती है, दीया भी जलता रहता है! मुझे जितनी भी गाली दो लेकिन सुशांत को न्याय चाहिए!
जीवन भर निष्पक्ष रहकर निष्ठा पूर्वक आम जनता की सेवा की है.मुझ पर बहुत तथ्यहीन अनर्गल आरोप लगाए जा रहे ,जिसका जवाब देना उचित नहीं.
हिफ़ाज़त हर किसी की मालिक बहुत खूबी से करता है !
हवा भी चलती रहती है,दीया भी जलता रहता है!!
मुझे जितनी भी गाली दो लेकिन सुशांत को न्याय चाहिए!— IPS Gupteshwar Pandey (@ips_gupteshwar) August 9, 2020
दरअसल शिवसेना नेता संजय राउत ने रविवार को शिवसेना के मुखपत्र ‘सामना’ में सुशांत को लेकर लिखा कि सुशांत के अपने पिता से मधुर संबंध नहीं थे। उन्होंने लिखा, ‘सुशांत को पिता की दूसरी शादी स्वीकार्य नहीं थी। उन्होंने यह भी लिखा, कितनी बार सुशांत अपने पिता से मिलने पटना गए थे? मुझे सुशांत के पिता से हमदर्दी है, लेकिन ऐसी कई चीजें हैं जो सामने आनी चाहिए।
इसके अलावा उन्होंने अंकिता लोखंडे पर भी निशाना साधा है। उन्होंने लिखा, सुशांत की लाइफ में 2 लड़कियां थीं- अंकिता लोखंडे और रिया चक्रवर्ती। अंकिता ने तो सुशांत को छोड़ दिया था, लेकिन रिया जिनपर अभी आरोप लगे हैं वह तो उनके साथ थीं। तो फिर इस मामले की भी जांच होनी चाहिए कि अंकिता ने सुशांत को क्यों छोड़ा था। ये जानकारी भी पब्लिक डोमेन में होनी चाहिए।
मुंबई पुलिस और बीएमसी जांच प्रभावित करने की कोशिश में थी
अभिनेता सुशांत सिंह राजपूत मामले में महाराष्ट्र के एक बड़े नेता के इशारे पर पटना पुलिस की एसआईटी को बीएमसी वाले क्वारंटाइन करने की फिराक में थी। ऊपर से मिले निर्देश के बाद ही एसपी सिटी विनय कुमार तिवारी को भी क्वारंटाइन किया गया था। यह सबकुछ पटना पुलिस पर दबाव बनाने के लिए किया गया था, ताकि जांच प्रभावित हो सके। पुलिस की चार सदस्यीय टीम के पटना लौटने से एक दिन पहले तक बीएमसी और मुंबई पुलिस उन्हें क्वारंटाइन करने की कोशिश की थी। बावजूद एसआईटी ने बेहद बारीकी से जांच की और सबूत जुटाए। अब वे सारे सबूत सीबीआई को एसआईटी सौंप चुकी है। सूत्रों की मानें तो एसआईटी में शामिल पुलिस अफसर छोटे ढाबे में छिपकर खाना खाते थे, क्योंकि मुंबई पुलिस उन्हें अलग-अलग होटलों में तलाश रही थी। सादे लिबास में मुंबई पुलिस एसआईटी की रेकी करती थी।
डीजीपी गुप्तेश्वर पांडेय ने ट्वीट कर अफसोस जताया था
बॉलीवुड अभिनेता सुशांत सिंह राजपूत की मौत मामले की जांच करने गई एसआईटी को लीड करने मुंबई गए बिहार के आईपीएस विनय तिवारी को जबरन क्वारंटाइन करने को लेकर सु्प्रीम कोर्ट की गंभीर टिप्पणी की थी। इसके बावजूद बीएमसी की ओर से आईपीएस को क्वारंटाइन मुक्त नहीं करने पर बिहार के डीजीपी गुप्तेश्वर पांडेय ने ट्वीट करते हुए अफसोस जताया था। गुप्तेश्वर पांडेय ने ट्वीट करते हुए लिखा कि माननीय सर्वोच्च न्यायालय द्वारा ये गम्भीर टिप्पणी की गयी है कि बिहार के IPS विनय तिवारी को मुंबई में ज़बरदस्ती क्वारंटाइन किया जाना ग़लत है फिर भी बीएमसी ने उन्हें अभी तक उन्हें मुक्त नहीं किया है। वे सुप्रीम कोर्ट की भी परवाह नहीं करते! अब इसको आप क्या कहेंगे? अफ़सोस!